गुरु रामकृष्ण परमहंसजी ने एेसे किया स्वामी विवेकानंद के अंतरंग में प्रार्थना का बीज अंकुरित !
स्वामी विवेकानंद के पिताश्री का निधन होता है । सिर पर बहुत ऋण था । इस संदर्भ में अपने गुरु रामकृष्ण परमहंस से अनुरोध करने पर वे कहते हैं, “दुर्गामाता को बताओ । वही सब निपटाएगी ।”