भाव एवं भाव के प्रकार

अधिकांश साधकों को देवता की आरती के समय अथवा गुरु / ईश्वर कास्मरण होने से अथवा उनके संदर्भ में अन्य किसी भी कारण से आंखों से पानी आता है । यह भाव के उपर्युक्त दिए गए आठ लक्षणों मेंसे ‘अश्रुपात’ यह लक्षण है ।